थाइरोइड को नियंत्रित करने के नुस्खे एवं उपाय
थाइरोइड हमारे शरीर में मौजूद गले में पाये जाने वाली एक ग्रंथि का नाम हैं। अगर बात की जाये थाइरोइड की आवश्यकता की तो ये जान लेना अतिआवश्यक हैं कि थाइरोइड हमारे शरीर में जाने वाले या उपस्तिथ आयोडीन का प्रयोग कर हार्मोन का निर्माण करता हैं एवं शरीर के विभिन्न हिस्सों में उसकी पूर्ति भी करता हैं।
अक्सर ऐसा देखा गया हैं की यह समस्या महिलाओ में ज्यादा पायी जाती हैं क्यूंकि उन्हें शुरू में इसके लक्ष्ण समझ नहीं आते एवं जब तक समझ आते हैं तब तक वो इस गंभीर बीमारी का शिकार बन चुके होते हैं।
यदि बात की जाये थाइरोइड ग्रंथि की तो यह हमारे शरीर की महत्वपूर्ण ग्रंथियों में से एक हैं। थाइरोइड ग्रंथि हमारे शरीर के विभिन्न हिस्सों के लिए आयोडीन का निर्माण करती है जो की शरीर को सुचारु रूप से स्वस्थ्य रखने के लिए अत्यंत आवश्यक हैं।
समस्या थाइरोइड ग्रंथि को लेकर तब अति हैं जब वह शरीर में अधिक मात्रा में या फिर काम मात्रा में थाइरोइड आयोडीन का निर्माण करने लगती हैं। थाइरोइड ग्रंथि में खराबी के चलते शरीर में अलग-अलग तरह की समस्याएं सामने आने लगती हैं। थाइरोइड किसी भी उम्र के लोगो में दिखाए देने वाली बीमारी हैं। अगर प्रायः बात की जाये तो थाइरोइड मुख्य रूप से 2 तरह के होते हैं।
1) हाइपो-थायरोइडिस्म – इस प्रकार की समस्या में ग्रंथि आवयश्कता से कम हॉर्मोन का निर्माण कर पाती हैं।
2) हाइपर-थायरोइडिस्म – इस प्रकार की समस्या में ग्रंथि आवश्यकता से अधिक हॉर्मोन का निर्माण करती हैं।
तो आइये अब हम बात करेंगे की हम किस तरह थाइरोइड को कैसे घरेलु उपचार की मदद से नियंत्रण में रख सकते हैं।
- सेलेनियम युक्त पदार्थ – राष्ट्रीय स्वास्थ्य संगठन के अनुसार सेलेनियम एक ऐसा तत्त्व हैं जो थाइरोइड हॉर्मोन उपापचय में भाग लेता हैं। आज खाद्य बाजार में कई तरह के खाद्य पदार्थ हैं जिनमे सेलेनियम होता हैं जैसे ब्राज़ील नट्स,ट्यूना आदि। हर शरीर में प्रत्येक व्यक्ति को उसके शरीर के हिसाब से पोषक तत्वों की आवयश्कता होती हैं इसलिए आहार विषेशज्ञ या फिर डॉक्टर की सलाह पर ही सेलेनियम युक्त खाद्य पदार्थो का सेवन नियमित रूप से करे।
- शर्करा रहित आहार – शर्करा शरीर में सूजन में वृद्धि कर सकता हैं। सूजन में टी4 से ट्राईओड़ोथेरॉनिन ,या टी3 अन्य थयरॉइजड हॉर्मोन के रूपांतरण को धीमा कर सकता हैं। यह थाइरोइड को खराब कर सकता हैं।
शुगर केवल ऊर्जास्तर की अवधी को बढ़ाता हैं इससे अपने ऊर्जा स्तर को नियंत्रित करने में मदद मिल सकती हैं। इसके अतिरिक्त, आपके आहार से चीनी हटाए जाने से आपकी त्वचा और तनाव के स्तर को काबू किया जा सकता हैं। शुगर रहित आहार लेना थोड़ा मुश्किल हैं परन्तु ये स्वास्थ्य लाभ के लिए काफी हद्द तक लाभकारी साबित हो सकता हैं।
3.ग्लूटोन मुक्त आहार– ग्लूटोन फ़्री आहार लेना थाइरोइड सम्बन्धी समस्या से पीड़ित लोगो के लिए एक सनक या एक धुन की तरह हैं। ऐसा शोध में देखा गया हैं कि नेशनल फाउंडेशन फॉर सेलिएक अवेयरनेस ने ये घोसित किया हैं की उदर सम्बन्धी बीमारियों में ग्लूटोन एक हानिकारक तत्त्व हैं इसलिए इस थाइरोइड ग्रंथि को यदि आप नियंत्रित करना चाहते हैं तो आपको ग्लूटोन मुक्त आहार लेना चाहिए। परन्तु इसे लेकर भी विरोध हैं की ग्लूटोन फ्री पदार्थ का सेवन भी हानिकारक साबित हो सकता हैं
तो आपके लिए यह उचित रहेगा की आप की आहार विषेशज्ञ या डॉक्टर की सलाह से ही आहार प्रणाली या नियम का पालन करे।
- समुद्रीय सब्जियों का सेवन– समुद्री सब्जियाँ थाइरोइड का समर्थन करने के लिए एक अच्छा प्राकर्तिक स्त्रोत हैं। अपने आहर में कुछ समुद्रीय सब्ज़ियां की शामिल करने के रूप में सरल हो सकता हैं।
- योग एवं व्यायाम- आपको यह जानकार हैरानी नहीं होनी चाहिए की विभिन्न तरह के योग एवं व्यायाम की मदद से आप अंतः स्रावी ग्रंथियों में काफी हद्द तक सुधार कर सकते हैं और आपको ये जानकार और भी हैरानी होगी की कुछ ख़ास तरह के व्यायाम एवं योग आपके थाइरोइड को भी उत्तेजित एवं संतुलित रखने में आपकी मदद करते हैं।
- अंतःस्रावी ग्रंथि को सपोर्ट करें – थाइरोइड एवं अधिवृक्क ग्रंथिया साथ में मिलकर काम करती हैं इसलिए यदि आप थके हुए हैं तो आपको एड्रिनल की मदद से आपको थाइरोइड को संतुलित रखने में मदद मिल सकती हैं। कुछ ख़ास तरह के पोषक एवं प्रोटीनयुक्त आहार से हम एड्रेनल की सपोर्ट से थायरोक्सिन को संतुलन में कर सकते हैं। परन्तु उचित ये रहेगा की आप ये सब किसी आहारविशेषज्ञ या फिर डॉक्टर की मदद ले ताकि आपको किसी भी तरह की परेशानी का सामना ना करना पड़े।
- काली मिर्च का सेवन -यदि आप थायराइड को संतुलन में करना चाहते है, तो आपको काली मिर्च का सेवन नियमित रूप से शुरू कर देना चाहिए। काली मिर्च का सेवन करने से थायराइड की बीमारी लगभग ठीक हो जाती है। काली मिर्च का सेवन आप किसी भी तरह से कर सकते है।